योग्यता नहीं आज, पद ही मापदण्ड है,
अतीत सामान्य, पर वर्तमान प्रचण्ड है l
भावना मन्दिर में, मूर्तियों में भेद रहे,
तो,गौरव,प्रतिष्ठा,सम्मान खण्ड खण्ड है l
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