Sunday, 8 June 2025

 

क्रोध, शोक,चिन्ता से बढती है लौलुपता,

तृष्णा  या  उद्वेग बढाती  है  कामुकता.

लक्ष्मी, विद्या और प्रतिष्ठा हम पा सकते,

क्षमा ,दया,सन्तोष,ज्ञान से बढती क्षमता.

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