Sunday, 28 January 2024

 

 निज हित जैसा चाहते, दो परहित भी मान,

     जो दोगे  सो पावगे, ज्यों का  त्यों सम्मान |

 

             भौतिक सुख में सुख नहीं, सच्चा सुख है दान,

             निकल तिमिर अज्ञान से, मिल जाएँ भगवान |

 

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